क्या आप लगातार पेट दर्द, डायरिया और वज़न कम होने से परेशान हैं? हो सकता है कि आप IBD (Inflammatory Bowel Disease) से पीड़ित हों! भारत में Crohn’s Disease और Ulcerative Colitis के मामले तेज़ी से बढ़ रहे हैं। इस आर्टिकल में जानें IBD के लक्षण, कारण और सही इलाज।
IBD क्या है?
IBD एक chronic disease है जिसमें शरीर की इम्यून सिस्टम गलती से डाइजेस्टिव ट्रैक्ट (आंतों) पर हमला करती है, जिससे सूजन (inflammation) और अल्सर (ulcers) हो सकते हैं। IBD दो मुख्य प्रकार की होती है:
Crohn’s Disease: यह मुँह से लेकर एनस (anus) तक डाइजेस्टिव सिस्टम के किसी भी हिस्से को अफेक्ट कर सकती है।
Ulcerative Colitis: यह सिर्फ बड़ी आंत (colon) को अफेक्ट करती है, जिससे इसमें इंफ्लेमेशन (inflammation) और अल्सर (ulcers) हो जाते हैं।
IBD के लक्षण
पेट दर्द और ऐंठन: आमतौर पर खाने के बाद बढ़ जाता है।
डायरिया: अक्सर खूनी डायरिया, खासकर Ulcerative Colitis में।
थकान: शरीर में लगातार कमजोरी और सुस्ती महसूस होना।
वज़न कम होना: क्योंकि न्यूट्रिएंट्स ठीक से शरीर में एब्जॉर्ब नहीं हो पाते।
बुखार: जब IBD का अटैक बढ़ता है, तो हल्का बुखार हो सकता है।
IBD के कारण और रिस्क फैक्टर्स
जेनेटिक फैक्टर्स: अगर आपके परिवार में किसी को IBD है, तो आपका ये डिजीज डेवलप करने का रिस्क बढ़ सकता है।
इम्यून सिस्टम की गड़बड़ी: जब शरीर की इम्यूनिटी गलती से आंतों पर हमला करती है।
Environmental Triggers: स्ट्रेस, अनहेल्दी डाइट और इंफेक्शन IBD को बढ़ा सकते हैं।
स्मोकिंग: Crohn’s Disease के रिस्क को बढ़ा सकता है।
IBD का इलाज
1. दवाइयाँ
Anti-Inflammatory Drugs: 5-ASA (Aminosalicylates) सूजन को कम करने में मदद करता है।
इम्यूनोसप्रेसेंट्स (Immunosuppressants): Azathioprine जैसी दवाइयाँ इम्यून सिस्टम को सप्रेस (शांत) करती हैं।
Biologic Therapy: Infliximab और Adalimumab जैसी दवाइयाँ इम्यून सिस्टम के ख़ास प्रोटीन्स को टारगेट करती हैं। Antibiotics: IBD से जुड़े इंफेक्शन को रोकने में मदद करते हैं।
2. सर्जरी
अगर दवाइयों से राहत न मिले, तो Ulcerative Colitis में पूरी बड़ी आंत हटाने (Colectomy) की जरूरत पड़ सकती है।
Crohn’s Disease के गंभीर मामलों में डैमेज्ड हिस्से को हटाने के लिए सर्जरी करनी पड़ती है।
3. डाइट और लाइफस्टाइल
सही खान-पान: प्रोसेस्ड फूड, डेयरी और मसालेदार चीज़ों से बचें।
नियमित एक्सरसाइज: शरीर को फिट रखने के लिए ज़रूरी है।
स्ट्रेस मैनेजमेंट: ध्यान (meditation) और योग (yoga) मदद कर सकते हैं।
अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
क्या IBD पूरी तरह ठीक हो सकता है?
नहीं, लेकिन सही इलाज और डाइट से इसे कंट्रोल किया जा सकता है।
Crohn’s Disease और Ulcerative Colitis में क्या अंतर है?
Crohn’s Disease पूरी डाइजेस्टिव ट्रैक्ट को प्रभावित कर सकती है, जबकि Ulcerative Colitis सिर्फ कोलन (बड़ी आंत) को।
क्या IBD से कैंसर का खतरा बढ़ जाता है?
हां, खासकर Ulcerative Colitis वाले लोगों में कोलोरेक्टल कैंसर का रिस्क बढ़ जाता है।
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Disclaimer:
यह लेख केवल शैक्षिक उद्देश्य के लिए है। किसी भी मेडिकल स्थिति के लिए डॉक्टर से परामर्श ज़रूर लें।